Fengsui Se Upay

फेंगसुई से भाग्योदय

फेंगसुई चीन का प्राचीनतम विज्ञान है, इसे चीनी वास्तु शास्त्र भी कहा जा सकता है, यह शास्त्र अध्याय और आधुनिकता का मिश्रण है। फेंगसुई का शाब्दिक अर्थ है -हवा और पानी। जिस प्रकार हमारे सनातन धर्म में पृथ्वी, जल, आकाश, वायु और अग्नि का महत्व है, उसी प्रकार चीनी लोग काष्ठ, अग्नि, पृथ्वी, धातु एवं जल को महत्व देते हैं। फेंगसुई में जीवों, दैत्य-दानवों, वनस्पतियों तथा कुछ अन्य आकृतियाँ की प्रमुख होती है और उनका उपयोग कर अपने भाग्य को अच्छा व बलवान (भाग्योदय) किया जा सकता है।

*** फेंगसुई से उपाय निम्नलिखित हैं-

  1. विद्यार्थी वर्ग अनुकूल पारिणामों के लिए फीनिक्स पक्षी का चित्र लगाएँ।
  2. लव-मेरेज के इच्छुक कपल (प्रेमी-वर्ग) मेडरिन बत्तख का चित्र लगाएँ।
  3. प्रतियोगी परीक्षार्थी, राजनीतिज्ञ व प्रशासनिक वर्ग फुक-लुक-साऊ की मूर्तियाँ लगाएँ।
  4. संतान-सुख या संतान प्राप्ति के लिए शयन कक्ष(बेड-रूम) में स्फटिक गोला व दो दौड़ते घोड़ों का चित्र लगाएँ तथा मुख्य द्वार पर कोई अवरोध न रखें।
  5. शत्रु व बाधा नाश के लिए ‘चीनी ड्रैगन’ का चित्र दक्षिण की दीवार पर लगाएँ।
  6. शादी लायक लड़का-लड़की ‘ची’ ऊर्जा का संचरण करने के लिए अपने शयन कक्ष में पीला रंग का अधिकाधिक उपयोग करें।
  7. सभी प्रकार के अशुभ, नजर दोष व असाध्य रोग के निवारण के लिए चीनी पौराणिक प्राणी “कैलून” का चित्र लगाएँ।
  8. ऐश्वर्य, संपत्ति व सौभाग्य के लिए उत्तर दिशा में धातु का कछुआ रखें।
  9. व्यवसायी लोग दैनिक आय वृद्धि के लिए धातु का लाफिंग बुद्धा व क्रीम के पुष्प मिट्टी के फूलदान में अपने कार्यालय में रखें।
  10. पारिवारिक क्लेश से बचने के लिए रसोईघर में चूल्हे के उपर किसी प्रकार का पानी का पत्र न रखें तथा छत पर टंकी, रसोईघर के उपर न रखवाएँ।
  11. प्रसिद्धि व प्रसन्नता के लिए घर में “बोन्साई व नागफनी” का पौधा न लगाएँ।

 

Dr. Jitendra Vyas

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